पंचायती रामलीला के सामने वाले रामगोपाल सामान्य एवं जनाना हस्पताल की डाक्टर अन्नू लूथरा ने करवाई यह डिलीवरी
महिला की पहले हो चुकी थी दो सीजेरियन डिलीवरी
महम
कहते है हिम्मत और सही निर्णय में भगवान भी मदद करते हैं। पहले दो बच्चे सर्जरी से होने के बाद तीसरा बच्चा सामान्य होना आमतौर पर मुश्किल बताया जाता है। लेकिन ऐसा कभी-कभी हो जाता है। पंचायती रामलीला के सामने वाले रामगोपाल सामान्य एवं जनाना अस्पताल की डाक्टर अन्नू लूथरा का कहना है कि ऐसा उनके हस्पताल में रविवार को हुआ है। यह उनके अब तक 20 साल के अनुभव के दौरान केवल दूसरी बार हो पाया है।
डाक्टर अन्नू ने बताया कि उनके हस्पताल में शेखपुर तीतरी से एक महिला लाई गई। जिसे डिलीवरी होने वाली थी। महिला सोनिया की पहली दो डिलीवरी सर्जरी से हुई थी। यह उनका तीसरा बच्चा था।
रोहतक रैफर करना जोखिम भरा था
डाक्टर अन्नू लूथरा ने बताया कि सोनिया की हालत को देखते हुए उसे रोहतक रैफर करना जोखिम भरा था। ऐसे में सोनिया और उसके परिवार की सहमति से हस्पताल में ही सोनिया की डिलवरी कराने का निर्णय लिया गया। डाक्टर अन्नू का कहना है कि भगवान की दया और महिला के सहयोग और विश्वास के चलते लगभग आधे घंटे के प्रयास के बाद वह महिला की बिना सर्जरी के सामान्य रूप से डिलीवरी करवाने में सफल हो गई। डाक्टर अन्नू का कहना है कि ऐसी डिलीवरी दुर्लभ होती है। जच्चा बच्चा दोनों स्वस्थ हैं। परिवार भी खुश है। दीपक दहिया/ 8950176700
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