श्रद्धा और विश्वास से हुए आयोजन
महम में रविवार को मंदिरों में अन्नकूट भंडारे लगे। विश्वकर्मा जयंती के उपलक्ष्य पर आयोजन हुए। श्रद्धालुओं ने श्रद्धा और विश्वास के साथ इन आयोजनों में भाग लिया।
दरबारी मंदिर, खारीकुई मंदिर, खांड की मंडी मंदिर तथा अन्य कुछ स्थानों पर अन्नकूट भंडारे लगाए।
राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक मैदान में विश्वकर्मा जयंती समारोह का आयोजन किया गया। यहां सांकृतिक कार्यक्रम भी हुए।
धार्मिक मान्यता के अनुसार भगवान श्रीकृष्ण ने इंद्र के कोप से गोकुल को बचाने के लिए गोवर्धन पर्वत को अपनी ऊंगली पर उठाया था। गोकुलवासियों ने इसी खुशी में भगवान श्रीकृष्ण के सम्मान में 56 भोग भोजन व भंडारे का आयोजन किया था। अन्नकूट दीपावली के बाद मनाए जाने वाले त्यौहारों का हिस्सा है। दीवाली से अगले दिन तथा भैया दूज से पहले दिन बनाया जाता है। क्षेत्र के अनुसार मंदिरों में अलग-अलग व्यंजन बनाने की परंपरा है। महम में ज्यादातर मंदिरों में कढ़ी, चावल, पूरी व हलवा बनता है।
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